कोटा,7 अगस्त। भ्रष्टाचार निवारण न्यायालय के न्यायाधीश प्रमोद कुमार मलिक ने पैर की हड्डी का आपरेशन करने की एवज में पांच हजार की रिश्वत लेने के मामले में अस्थि रोग विशेषज्ञ डॉ. ओम प्रकाश धाकड़ की ओर से पेश दूसरा जमानत का आवेदन शुक्रवार को खारिज कर दिया।
केशवराय पाटन निवासी कुलदीप मीणा ने 5 जून को शिकायत दी थी। जिसमें उसने बताया कि उसका रिश्तेदार लोकेश मीणा बूंदी के सामान्य चिकित्सालय में भर्ती था। जिसके पैर की हड्डी का आपरेशन होना था। पहले चिकित्सक ने देवली स्थित निजी अस्पताल में 20 हजार रूपए में आपरेशन करने का दबाव बनाया। उसके बाद सामान्य अस्पताल बूंदी में ही आपरेशन करने की एवज में 15 हजार रूपए की मांग की। शिकायत पर एसीबी ने पुष्टि करवाई, जिसमें 5 हजार रूपए डॉक्टर ने ले लिए, बाकी के 10 हजार रूपए आपरेशन से पहले व बाद में दो किश्तों में देना तय हुआ। इसके लिए डॉक्टर धाकड़ ने गायत्री नगर में महावीर मेडिकल स्टोर के संचालक रमेश को रूपए देने की बात कही। फरियादी ने रिश्वत की रकम की दूसरी किश्त मेडिकल स्टोर संचालक को दी। इशारा मिलते ही एसीबी की टीम ने दबिश देकर मेडिकल स्टोर संचालक को गिरफ्तार किया। उसके बाद चिकित्सक को भी गिरफ्तार कर लिया गया था।कोटा देहात एसीबी ने पिछले दिनों दोनों आरोपियों के खिलाफ न्यायालय में चालान पेश किया था। इसके बाद बचाव पक्ष के वकील ने यह दूसरा जमानत का आवेदन आरोपी डॉक्टर की ओर से कोटा न्यायालय में पेश किया था। जिसे आज न्यायालय ने सुनवाई करते हुए खारिज कर दिया गया।